इस संस्था के अध्यक्ष श्री संजय झा "नागदह" कहला कि एहि संगोष्ठी मे मैथिली साहित्य के अनेको प्रसिद्ध साहित्यकार जेकि मैथिली साहित्य अकादमी आओर साहित्य अकादमी सँ सम्मानित भ' चुकल छैथ अप्पन - अप्पन विचार से मैथिली प्रेमी क' संबोधित करथिन।
संगोष्ठी केर आयोजन तीन चरण मे होयत। पहिल साहित्यिक होयत जाहिमे संस्था द्वारा स्मारिका केर विमोचन कायल जायत। दोसर चरण मे कविता पाठ होयत जाहिमे मैथिली के दिग्गज - दिग्गज कवि - कवियित्रि अप्पन ओजपूर्ण वाणी से कविता पाठ करथिन। तेसर चरण मे सांस्कृतिक कार्यक्रम केआयोजन होयत जाहिमे मैथिली के कैको सुप्रसिद्ध गायक - गायिका संगीत प्रस्तुत करथिन।
एहि बीच विद्यापति रचित गोसाउनिक गीत आओर छन्द काव्य पर कत्थक नृत्य ह्रदय राय जी द्वारा प्रस्तुत कायल जायत। राम चन्द्र मिश्र "मधुकर", डॉ० उदय नारायण सिंह"नचिकेता", मृदुला प्रधान, कामिनी कामायिनी, चंद्रशेखर पासवान, कुमकुम झा, जगदानंद झा "मनु', महेश झा"डखरामी", मनीष झा "बौआभाई", कुमारी शुभांगिनी चौधरी' मुख्य रूप सँ एहि संगोष्ठी मे भाग लेथिन।
एहि संगोष्ठी केर अध्यक्षता वरिष्ठ साहित्यकार डॉ० उमाकान्त झा करता। संगोष्ठी मे विशेष अतिथिक रूप मे मैथिली - भोजपुरी अकादमी के उपाध्यक्ष कुमार संजॉय सिंह आओर सुप्रसिद्ध लोक गायिका विजय भारती भाग लेथिन।
मैथिली संगीत केर प्रसिद्ध गायक विकास झा, आनन्द मोहन झा, गायिका विजया भारती, मैथिली ठाकुर, अंजू झा "रंगीली भौजी", व अन्य सेहो अप्पन प्रस्तुति देथिन।
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