बिहार सरकार मे उजागर भेल धान घोटाला बहुचर्चित चारा घोटाला जेना मानल जे रहल अछि। चारा घोटाला केर जांच मे पता चलल छल कि चारा स्कूटर आओर साइकिल पर ढोयल गेल छल आओर फर्जी बिल सँ दवा आपूर्ति भेल छल। धान घोटाला मे फर्जी राइस मिल सभक जरिए बड़का घोटाला के बात सामना आयल अछि। प्राप्त खबैर केर मुताबिक फर्जी राइस मिल आओर नकली ट्रांसपोर्टरक नाम पर दोसर चरण के धान घोटाला मे 600 करोड़ सँ बेसी टाकाक धनराशि केर गबन कायल गेल अछि।
धान घोटाला सामना अएला बाद सियासी हड़कंप मचल अछि। एहि घोटाला ल'के एक बरख पहिनो विधानसभा मे बहुत हो हल्ला भेल छल। ओहि समय पटना हाइकोर्ट एहि मामला पर संज्ञान लैत ऐहिक जांच सीबीआई क' सौपबाक आदेश देना छल। मुदा हाइकोर्ट केर आदेशक बावजूद सीबीआई द्वारा कुछ कारण बता एहि मामलाक जांच करबा सँ मना कायल गेल छल। जाहिक बाद हाईकोर्ट द्वारा जांच विजिलेंस विभाग क' ई मामलक सौपल गेल छल। विजिलेंस केर जांच मे पता लागल कि किछु अधिकारी केर मिलीभगत सँ बिहार सरकार क' करीब 600 करोड़ टाकाक चूना लगाओल गेल। अनुमान लगाओल जे रहल अछि कि धान खरीद घोटाला 4000 करोड़ सँ बेसी के भ' सकैत अछि।
अपने क' बता दी एहि घोटाला केर तहत बिहार के 10 जिला सँ कथित रूप सँ कुल 17 लाख मीट्रिक टन धान सँ चाउर (चावल) निकालबाक लेल बंगाल भेजल गेल जे असल मे भेजल नहि गेल। एहि घोटाला मे धान ढुलाई केर नाम पर करोड़ों ताका ट्रक भाड़ा केर रूप मे भुगतान कायल गेल। बुध दिन भेल धान खरीद केर समीक्षा बैठक मे मुख्यमंत्री नीतीश कुमार विभाग क' निर्देश देलनि कि जे भी पैक्स गड़बड़ी क' रहल अछि हुनका सभक खिलाफ कड़ा कार्रवाई जायल जाए।
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